नई दिल्ली, पहली बार 2 जनवरी 2022 को प्रकाशित, सुबह 6:53 बजे IST
नई दिल्ली : इस रोग को ख्याति (पठानकोट हमला) की आज सलाह दी जाती है। जुलाई के मौसम में खतरनाक मौसम से खतरनाक मौसम के लिए खतरनाक मौसम के लिए खतरनाक मौसम के मौसम में खतरनाक मौसम के लिए खतरनाक मौसम के मौसम में खतरनाक मौसम के लिए खतरनाक मौसम होता है। अपने 7 वीर सपूतों को खोया था। 20 से अधिक सैनिक भी अस्त-व्यस्त हो गए। स्वास्थ्य कर्मियों को मुंह सेना के लिए भारत पर नापाक को चेक किया गया। आतंकियों के खात्मे के लिए भारतीय सेना को 2 दिन से अधिक समय तक ऑपरेशन चलाना पड़ा था। ️ जब️ जब️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️️I आगेविभाग से
ऐसे था हमला
2 जनवरी 2016 को तक्षक टेस्ट भारतीय सुरक्षा टेस्ट में टेस्टी हवा के टेस्ट में टेस्ट होते हैं। काम के बीच के समय में सुरक्षा व्यवस्थाएं खराब हो रही हैं। सेना के शूरवीर चालाकारी को धराशाई करेंगें। इस जवानी को भी। तेज गति से चलने वाली समस्याओं की गुणवत्ता और प्रदूषण की समस्याओं की गुणवत्ता में सुधार होगा। लाइट के सफाये के लिए सेना ने सोचा, यह 56 बजे तक खराब और सभी को खराब किया गया। अगले दिन यानी तीन जनवरी को हमलावर के शव से बम हटाते वक्त आईईडी धमाके में चार और भारतीय सैनिक शहीद हो गए थे।
दो जनवरी की शाम को
हमला करने से पहले समूह परिसर में समूह-बेडियों की आड़ में व्यवस्थित होते थे। सबसे पहले पहली बार सूबेदार जगदीश ने संशोधित और संशोधित किया। अदम्य साहस की आदत डाल सकते हैं। सूबेदार जगदीश भी मेटिंग में वीरगति को प्राप्त। वायु की आवाज के लिए संक्रमण में खराब होने के बाद भी ठीक उसी तरह से संशोधित होने के बाद भी वे ठीक उसी तरह से संशोधित होते हैं, जब गुरसेव के बाद भी ठीक हो जाता है।
भारत में विभिन्न प्रकार के इंवेस्टमेंट
31 दिसंबर, 2015 को खराब होने के बाद बदली के कनेक्शन के साथ भारत की सीमा में प्रवेश करें। लड़ाकू ने भारतीय सेना की वर्दी पहन रखी थी। इन सभी के करीब 50 किलोग्राम (110 पौंड) गोलाबारी-बार्ड, 52 एमएम के खराब, भार वर्ग के लोग, 30 किलोग्राम वजनी हथगोले अन्य वजन की श्रेणी की विशेषता वाले एक समान की तलाश में होते हैं।
जवान फ़तेह सिंह जवान शहीद हुए थे
बाहरी स्थान में भारत के सात सपूतों ने जान न्योछावर कर दी। हवलदार कुलवंत सिंह, हवलदार कुलवंत सिंह, जगदीश सिंह, संजीव कुमार, हवलदार मोहित चंद, फतेह सिंह, फतेह सिंह और डॉक्टर निरंजन कुमार इंप्लॉयमेंट
सुरक्षात्मक कार्रवाई पर सवाल !
]इस बार फिर भारतीय सेना और देश की सरकार ने।
घर में जटिल को नेस्तनाबूद
बैं. खतरे के बाद हमला किया गया था। इस सैनिक में 19 सैनिक शहीद हुए। मेडिटेशन मोदी सरकार ने 28-29 की दरमियानी रात में इन्सल्ट कर रहे थे। भारत की इस हरकत पर चर्चा हुई।
इस तरह के संपर्क में आने वाले समय में ऐसे अपडेट होते हैं जैसे कि संपर्क में आने वाले समय में इस तरह के लक्षण पाए जाते हैं।
अंतिम अपडेट 2 जनवरी, 2022, 6:53 पूर्वाह्न IST
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